पंजाब और हरियाणा के किसानों का दिल्ली की ओर कूच चार साल पहले उनके प्रदर्शन को याद दिलाता है। जानिए, चार साल पहले किसलिए प्रदर्शन हुआ था और क्या हासिल हुआ था।
प्रधानमंत्री मोदी द्वारा तीनों कृषि क़ानूनों पर ताज़ा घोषणा के बाद भी आख़िर कृषि आंदोलन तुरंत क्यों नहीं ख़त्म होगा? जानिए, किसान नेता राकेश टिकैत ने क्या कहा।
कृषि क़ानून, सीएए जैसे अधिकतर क़ानूनों के ख़िलाफ़ जबरदस्त आंदोलन क्यों हो रहे हैं? क्या क़ानून बनाने या सुधार करने से पहले पर्याप्त चर्चा नहीं हो रही है? पहले संशोधन विधेयक संयुक्त समितियों को भेजे जाने का चलन था, क्या अब वैसा हो रहा है?
यूपी सहित कई राज्यों में विधानसभा चुनावों से पहले किसान आंदोलन के तेज होने के बीच सुप्रीम कोर्ट द्वारा गठित कमेटी के एक सदस्य ने सीजेआई से इसकी रिपोर्ट सार्वजनिक करने की मांग की है।
मुज़फ़्फ़रनगर किसान महापंचायत में राकेश टिकैत ने अपने भाषण में 'अल्लाहू अकबर' का नारा लगाया और सामने की भीड़ ने 'हर हर महादेव' का जयघोष किया। उनके इस भाषण को सरकार समर्थित मीडिया सांप्रदायिक बताने के प्रयास में क्यों है?
यूपी के मुज़फ़्फ़रनगर में किसान महापंचायत के बाद किसान मंगलवार को हरियाणा के करनाल में विरोध-प्रदर्शन कर रहे हैं। हरियाणा सरकार ने भारी पुलिस बल लगाया है और पाँच ज़िलों में मोबाइल इंटरनेट बंद कर दिया है।
तीन कृषि क़ानूनों के विरोध में जारी किसानों के आंदोलन आज़ाद भारत का ऐसा सबसे बड़ा आंदोलन है जो इतने लंबे समय से जारी है। सरकार का उपेक्षापूर्ण रवैया तो है ही, लेकिन सर्वोच्च अदालत ने भी आश्चर्यजनक चुप्पी साध रखी है।
नये कृषि क़ानूनों के ख़िलाफ़ किसान आंदोलन के समर्थन में राहुल गांधी के सोमवार को ट्रैक्टर से संसद जाने के मामले में अब कांग्रेस नेताओं के ख़िलाफ़ एफ़आईआर दर्ज की गई है। जिस ट्रैक्टर से राहुल संसद में पहुँचे थे उसे जब्त कर लिया गया है।
ग़ाज़ीपुर बॉर्डर पर बुधवार को किसानों के साथ झड़प के लिए उत्तर प्रदेश पुलिस ने भारतीय जनता पार्टी के अज्ञात कार्यकर्ताओं के ख़िलाफ़ एफ़आईआर दर्ज की है। भारतीय किसान यूनियन के सदस्यों ने इसके लिए शिकायत दी थी।
टीकाकरण की अव्यवस्थाओं को दूर करने की प्रधानमंत्री मोदी ने घोषणा की है तो क्या खेती सम्बन्धी तीन कृषि कानूनों के खिलाफ चल रहे किसान आन्दोलन के सन्दर्भ में भी क्या ऐसा होगा?