क्या लिखूँ? लिखने की आदत जिन्हें हो, उनके सामने भी यह सवाल एक पहाड़ की तरह आकर खड़ा हो जाता है। कलम रुकी रहती है या की-बोर्ड के ऊपर ख़ाली जगह चुनौती देती रहती है। क्या विषय की कमी है? मुक्तिबोध ने लेखक की इस समस्या पर विचार करते हुए लिखा है - समस्या दरअसल विषयों की कमी नहीं, उनका अधिक होना है। उससे बड़ी समस्या उनमें से विषय के चुनाव की है।