पंजाब में 48 घंटों के भीतर दो लिंचिंग हुईं। शनिवार को अमृतसर में और रविवार को कपूरथला में। लिंचिंग का यह कृत्य धार्मिक बेअदबी के नाम पर किया गया। बेअदबी का विश्वस्तर पर विरोध किया गया, मॉब लिंचिंग पर खामोशी रही लेकिन अब इसके विरोध में भी स्वर उठने लगे हैं।

पंजाब में बेअदबी के नाम पर हुई मॉब लिंचिंग का विरोध भी आख़िरकार शुरू हो गया है।
वरिष्ठ एडवोकेट और नामवर मानवाधिकारवादी नवकिरण सिंह ने श्री स्वर्ण मंदिर साहिब में बेअदबी की कोशिश की तीखी निंदा करते हुए इस बात पर भी सवाल खड़े किए हैं कि क्या ऐसा करने की कोशिश करने वाले को भीड़ द्वारा पीट-पीटकर मार देना जायज था?
वह दो-टूक कहते हैं कि यह सरासर सिख धर्म की मर्यादा और उसूलों के खिलाफ है। दोषी को पकड़ा जाता और पुलिस के हवाले किया जाता। पुलिस पता लगाती कि वह किसी साजिश का हिस्सा है या मानसिक रूप से विक्षिप्त। डॉक्टर भी पुलिस के जरिए यह करते।