यह शायद बंगाल में ममता बनर्जी और बीजेपी की आक्रामक राजनीति का ही असर है कि किसी वक़्त में बंगाल में 34 साल तक सत्ता में रहे वाम मोर्चा (लेफ़्ट) को फिर से कांग्रेस से हाथ मिलाना पड़ा है। कांग्रेस भी राज्य की सत्ता में रह चुकी है।