कुछ वर्ष पहले की बात है। अचानक मुझे 'वर्ल्ड ब्राह्मण कॉउंसिल' नामक संस्था से ईमेल आने लगी। फिर एक फोन आया। यह किसी दिसंबर की बात है। फोन करने वाले ने बतलाया कि आने वाली जनवरी के पहले हफ्ते में वे 'रन फ़ॉर वेदाज़' का आयोजन करना चाहते हैं और इसी सिलसिले में उन्होंने मुझे फ़ोन किया है। वेदों के लिए दौड़ने की बात कुछ अटपटी लगी। स्वास्थ्य के लिए दौड़ना समझ में आता है। पिछले कुछ वर्षों से देखता हूँ, कुछ सामाजिक मसलों के लिए दौड़ होने लगी है।