बलराज साहनी होना या बनना सबके बूते की बात नहीं और शायद इसीलिए उन सरीखी शख्सियत एक ही हुई! उनका जन्म 1 मई 1913 को हुआ, यानी मज़दूर दिवस के दिन, अब पाकिस्तान का हिस्सा हो चुके रावलपिंडी में। कई के दिलो-दिमाग में बलराज साहनी इसलिए भी छाए हुए हैं कि वह एक बहुपक्षीय शख्सियत थे, ज़बरदस्त और अति प्रभावकारी विलक्षणता लिए हुए। यक़ीनन महान थे लेकिन महानता के प्रचलित दंभ से कोसों दूर। साठ साल का उनका जीवन लोक और लोकाचार के मानवीय बुनियादी उसूलों को समर्पित था।