बुलंदशहर पुलिस ने काफ़ी फजीहत के बाद 'ठाकुर' लिखा जूता बेचने वाले दुकानदार नासिर को छोड़ दिया है। पुलिस ने धार्मिक भावना भड़काने की धारा भी हटा ली है। सड़क किनारे ठिया लगाकर जूता बेचने वाले नासिर को इसलिए गिरफ़्तार कर लिया गया था कि जूते के तले पर 'ठाकुर' लिखा था। धार्मिक भावनाओं को आहत करने सहित कई धाराएँ लगाई गई थीं। नासिर का दावा था कि उसे नहीं पता था कि जूते पर जाति लिखी है।
जूते का ब्रांड 'ठाकुर' था तो जेल भेजा, फजीहत के बाद छोड़ा
- उत्तर प्रदेश
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- 6 Jan, 2021

बुलंदशहर पुलिस ने काफ़ी फजीहत के बाद 'ठाकुर' लिखा जूता बेचने वाले दुकानदार नासिर को छोड़ दिया है। पुलिस ने धार्मिक भावना भड़काने की धारा भी हटा ली है।
जूते बेचने वाले का कुसूर सिर्फ़ इतना था कि उसका नाम नासिर है और साथ में अनपढ़ भी। वह तो सड़क पर पलंग बिछाकर साप्ताहिक मंगल बाज़ार में जूते बेचता है। उसे क्या मालूम था कि वह जिन जूतों को बेचकर अपने परिवार का पेट भरता है वही जूते उसके सिर पर पड़ने की नौबत आ जाएगी। इतना ही नहीं, उसे सलाखों के पीछे जेल की हवा भी खानी पड़ेगी।
मामला बुलंदशहर के गुलावठी कस्बे का है जहाँ बजरंग दल के एक नेता ने न केवल हंगामा किया बल्कि अपनी हनक दिखाते हुए उसे गिरफ्तार करा दिया था क्योंकि उन्हें यह नागवार गुजरा कि नासिर जो जूते बेच रहा था उसके तले पर 'ठाकुर' लिखा है।