भारत की एकता को किश्तों में तोड़ने की कोशिश जारी है। आरएसएस और उसकी विचारधारा इसका नेतृत्व कर रहे हैं। एक ऐसा देश जहां संविधान सर्वोपरि है। लेकिन आरएसएस और भाजपा पर से शक मिटता नहीं है। बाबा साहब का संविधान भारत को एक धर्मनिरपेक्ष राष्ट्र घोषित करता है। लेकिन संघ प्रमुख बयान देते समय भारत को हिन्दू राष्ट्र घोषित करना नहीं भूलते। पत्रकार कुणाल पाठक ने अपने इस लेख में आरएसएस के इसी भारत विरोधी विचारों पर नजर डाली है।