पंजाब विधानसभा चुनाव कुछ महीने बाद ही होने को हैं, पर कांग्रेस पार्टी का अंतरकलह सुलझने का नाम नहीं ले रहा है, बल्कि इसमें नई गाँठें पड़ती जा रही हैं।
मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह दिल्ली में दो दिनों तक डेरा डाले रहने के बाद सोनिया गांधी या राहुल गांधी से मिले बगैर ही बुधवार की शाम चंडीगढ़ लौट गए।
कांग्रेस के केंद्रीय नेतृत्व ने तीन सदस्यों की एक कमेटी बनाई है, जो पंजाब कांग्रेस में सभी पक्षों की बातें सुनने के बाद मामला सुलझाने के लिए सुझाव देगी। यह कमेटी काम करती रहेगी।
नया प्रदेश अध्यक्ष
'एनडीटीवी' ने सूत्रों के हवाले से कहा है कि कैप्टन की मुलाक़ात सोनिया या राहुल से नहीं हो सकी, लेकिन उन्हें आश्वस्त किया गया कि वे अपने पद पर बने रहेंगे।
पंजाब कांग्रेस के अध्यक्ष सुनील कुमार जाखड़ को पद से हटाया जा सकता है, उनकी जगह नवजोत सिंह सिद्धू लाए जा सकते हैं, या किसी दलित नेता को यह ज़िम्मेदारी दी जा सकती है।
इसके साथ ही केंद्रीय नेतृत्व ने पंजाब के मुख्यमंत्री को सलाह दी है कि वे कुछ ज़रूरी कदम उठाएं, जिससे लोगों की नाराज़गी कम हो। कैप्टन से कहा गया है कि वे बिजली कंपनियों से बिजली खरीदने से जुड़े क़रार फिर से करें ताकि बिजली बिल में कटौती हो।
मुख्यमंत्री से कहा गया है कि वे बालू व परिवहन माफ़िया के ख़िलाफ़ कार्रवाई करें, 2015 के गुरु ग्रंथ साहिब के बेअदबी वाले मामले में कड़ी कार्रवाई करें और अनुसूचित जाति के लोगों की शिकायतें दूर करें।
राहुल की नाराज़गी?
केंद्रीय नेतृत्व का मानना है कि इन कदमों के उठाए जाने से नवजोत सिंह सिद्धू का विरोध फीका पड़ सकता है और उन्हें बीच का रास्ता मिल सकता है, वे यह कह सकेंगे कि उनकी बातें पार्टी में सुनी गईं और उनके कहने पर मुख्यमंत्री को कदम उठाने पड़े।
कैप्टन की मुलाक़ात राहुल गांधी या सोनिया गांधी से नहीं होने को लेकर कई तरह के सवाल किए जा रहे हैं। समझा जा रहा है कि राहुल ने इसके ज़रिए अमरिंदर सिंह को अपनी नाराज़गी का संकेत दे दिया।
लेकिन कैप्टन इस पर संतुष्ट हो सकते हैं कि वरिष्ठ नेता अंबिका सोनी से उनकी मुलाक़ात हुई और उन्होंने उनके साथ खाना भी खाया।
बहुत जल्द नवजोत सिंह सिद्धू को दिल्ली बुलाया जाएगा। पंजाब कांग्रेस के प्रभारी हरीश रावत ने ऐसा संकेत दिया है। लेकिन सिद्धू ने कहा है कि वे सिर्फ राहुल-सोनिया से ही मिलेंगे।
कैप्टन ने भी की शिकायत
बता दें कि मंगलवार को दिल्ली पहुंचे अमरिंदर सिंह ने कांग्रेस आलाकमान की ओर से बनाए गए पैनल के सामने जोरदार विरोध दर्ज कराया था और कहा था कि विधायक नवजोत सिंह सिद्धू ने मीडिया में उनके ख़िलाफ़ बयानबाज़ी की है।
ख़बरों के मुताबिक़, सिद्धू ने जिस तरह कुछ मीडिया इंटरव्यू में कैप्टन को झूठा कहा, उससे अमरिंदर सिंह बेहद नाराज़ हैं। कैप्टन ने इस बात पर एतराज जताया है कि सिद्धू को पंजाब कांग्रेस का प्रधान या डिप्टी सीएम बनाया जाए। पैनल ने कैप्टन से जो वादे अधूरे रह गए हैं, उन्हें बचे हुए महीनों में किए जाने के बारे में बात की।
कई विधायकों ने कांग्रेस नेताओं के पैनल के सामने कैप्टन की शिकायत की थी। इंडिया टुडे के मुताबिक़, कैप्टन ने कहा कि अपनी ही सरकार को कठघरे में खड़ा करने पर सिद्धू के ख़िलाफ़ कार्रवाई की जानी चाहिए।
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