अफ़ग़ानिस्तान में सरकारी कर्मचारियों के लिए दाढ़ी रखना अनिवार्य कर दिया गया है। ऐसा नहीं करने पर उन्हें कार्यालय में घुसने नहीं दिया जाएगा। यह ऐसे ही कई फरमानों में से एक है जो तालिबान कुछ दिन के फासलों पर जारी करता रहा है। दो दिन पहले ही उसने एक और फ़रमान निकाला है कि यदि कोई पुरुष रिश्तेदार साथ नहीं हो तो महिलाएँ हवाई जहाज से कहीं नहीं जा सकेंगी। क़रीब हफ़्ते भर पहले कहा है कि लड़कियों को छठी कक्षा से आगे नहीं पढ़ाया जाएगा।
अजीबोगरीब तालिबानी फरमान से दशकों पीछे जा रहा अफ़ग़ानिस्तान?
- दुनिया
- |
- 29 Mar, 2022
तालिबान के सत्ता में आते ही अफ़ग़ानिस्तान में जिन हालात का अंदेशा लगाया जा रहा था वह अब क्या सच साबित हो रहा है? क्या अफ़ग़ानिस्तान को दशकों पीछे धकेला जा रहा है?

वैसे, तालिबान का यह रूप तभी दिख गया था जब उसने अमेरिका के अफ़ग़ानिस्तान से निकलने के पहले ही काबुल पर कब्जा जमा लिया था। तब तालिबानी लड़ाकों ने कार्यालयों से महिलाओं को निकाल दिया था और कहा था कि वे काम नहीं कर सकती हैं। न्यूज़ चैनलों से भी महिलाओं को निकाल दिया गया था। तालिबान ने उसी दौरान यह साफ़ कर दिया था कि वह देश में कट्टर इसलामी क़ानून लागू करेगा। यानी कपड़े पहनने से लेकर, खान-पान, रहन-सहन के तौर-तरीक़े सबकुछ शरिया क़ानून से तय होंगे। तो क्या अफ़ग़ानिस्तान में घड़ी की सुई पीछे की ओर घुम गई है?