राजस्थान में अशोक गहलोत और सचिन पायलट के बीच चले राजनीतिक संकट के क़रीब 8 महीने बाद अब गहलोत सरकार ने माना है कि उसने फोन टैपिंग कराई थी। हालाँकि इसने उन नियमों का हवाला दिया है जिसके तहत फ़ोन टैपिंग कराई जा सकती है और कहा है कि पूरी प्रक्रिया का पालन किया गया। तब गहलोत पर आरोप लगे थे कि उन्होंने अवैध तरीक़े से फ़ोन टैपिंग कराई थी, लेकिन गहलोत ने इससे इनकार किया था। यह वह समय था जब सचिन पायलट ने बाग़ी तेवर अपनाए थे और इससे अशोक गहलोत सरकार पर संकट मंडराने लगा था। दोनों पक्षों की ओर से आरोप-प्रत्यारोप लगे थे। इस दौरान गहलोत ने दावा किया था कि उनके पास इसके पक्के सबूत हैं कि उनकी सरकार को गिराने की साज़िश रची गई। इस बीच कुछ ऑडियो क्लिप लीक हुई थी जिसमें कहा गया था कि तब के बाग़ी गुट के विधायक सरकार के ख़िलाफ़ बात कर रहे थे।