‘बड़ा दिल, बड़ी जेब’ का सवाल, हर दिन दोनों खेमों (सत्तारूढ़ भाजपा और प्रतिपक्ष कांग्रेस की और) से हो रही ‘मुफ्त देने’ की बेतहाशा घोषणाओं से खड़ा हो रहा है। टैक्स पेयर सवाल उठा रहे हैं, ‘पार्टियां अपनी जेब (पार्टी फंड) से मुफ्त बांटे तो कोई ऐतराज नहीं, लेकिन दनादन मुफ्त वितरण की घोषणाएं राज्य को खोखला कर देंगी।’