यह अभी स्पष्ट नहीं हुआ कि आग लगने से तुरन्त मरे 12 लोगों के अलावा छह लोगों की मौत वेलफेयर अस्पताल में ही हुई या वहाँ से दूसरे अस्पताल ले जाते वक़्त रास्ते में उनकी मौत हुई।
कोरोना रोगियों के इलाज के लिए विशेष तौर पर बना यह अस्पताल भरूच-जम्बेसर राजमार्ग पर है और राजधानी अहमदाबाद से लगभग 190 किलोमीटर दूर स्थित है।
महाराष्ट्र
महाराष्ट्र के पालघर में 23 अप्रैल को एक कोविड सेंटर में शुक्रवार सुबह आग लगने से 14 मरीज़ों की मौत हो गई थी। मृतकों में सभी आईसीयू मरीज़ थे। बाक़ी मरीज़ों को सुरक्षित निकालकर दूसरे अस्पतालों में भर्ती कराया गया था।
घटना की जानकारी मिलते ही फायर विभाग की गाड़ियाँ आग बुझाने के लिए मौक़े पर पहुँची। रिपोर्ट के अनुसार आईसीयू वार्ड में आग लगी।
इसके अलावा 28 अप्रैल को महाराष्ट्र के ठाणे ज़िले के एक अस्पताल में मंगलवार की रात आग लगने से चार मरीजों की मौत हो गई। मुम्ब्रा के प्राइम क्रिटिकेअर नामक निजी अस्पताल में रात के लगभग तीन बजे आग लग गई, तमाम कोशिशों के बाबवजूद चार रोगियों को नहीं बचाया जा सका।
राज्य सरकार के मंत्री जीतेंद्र आव्हाड ने इसकी पुष्टि की है, वह स्वयं अस्पताल गए थे। उन्होंने कहा कि घटना के समय उस अस्पताल में 17 रोगी भर्ती थे।
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