बरेली में एक बुजुर्ग की कथित तौर पर भीड़ ने इसलिए हत्या कर दी कि उनका बेटा अपने हिन्दू दोस्त के साथ घूमता था। हालांकि पुलिस ने एफआईआर में ऐसी कोई बात नहीं लिखी है लेकिन उसने इस कथित लिंचिंग की घटना में उसी मोहल्ले के चार मुस्लिम युवकों को गिरफ्तार किया है। पूरा परिवार जरी कढ़ाई का काम करता है।
न्यूज एजेंसी आईएएनएस और बरेली के लोकल मीडिया की खबर के मुताबिक बरेली के बारादरी इलाके में कुछ लोगों ने 20-22 वर्षीय शाहरुख शेख पर हमला कर दिया। जब शाहरुख के 60 वर्षीय पिता मोहम्मद सरताज जब बीच बचाव करने आए तो भीड़ ने उनकी भी पिटाई शुरू कर दी। उनको इतना पीटा गया कि जब अस्पताल पहुंचाया गया तो उनकी मौत हो चुकी थी। हालांकि पुलिस इसे हार्ट अटैक से हुई मौत बता रही है।
इस घटना के संबंध में शाहरुख ने कहा: मैं अपने घर के बाहर दो दोस्तों से बात कर रहा था। उसी दौरान मेरे पड़ोसी राशिद खान और तीन अन्य - आशू खान, फ़य्याम और फ़ाज़िल ने हमें गालियाँ देना शुरू कर दिया और बिना किसी वजह के हमें पीटना शुरू कर दिया। मेरे दोस्त किसी तरह बच निकलने में कामयाब रहे। जब मेरे पिता मुझे बचाने आए तो उन्हें भी हॉकी स्टिक से बेरहमी से पीटा गया।
बारादरी थाने के एसएचओ अभिषेक कुमार ने कहा, "हमने चार लोगों के खिलाफ धारा 304 (गैर इरादतन हत्या) के तहत एफआईआर दर्ज की है। हमने गवाहों के बयान भी दर्ज किए हैं। पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी।
पुलिस ने इसे सामान्य मारपीट की घटना मानते हुए एफआईआर दर्ज की है। पुलिस रिपोर्ट में इस बात का उल्लेख नहीं है कि शाहरुख के घर उनके हिन्दू दोस्तों के आने पर पड़ोसियों को आपत्ति थी, इसलिए उन्होंने परिवार पर हमला बोला था। बरेली के लोकल मीडिया ने भी इस घटना की खबर देते हुए शाहरुख और उनके परिवार के लोगों के बयान लिखे हैं। जिसमें उन्होंने बाकायदा आरोप लगाया है कि पड़ोसियों को उनके हिन्दू दोस्तों के आने पर आपत्ति थी।
इस घटना के बाद बारादरी इलाके में भारी पुलिस फोर्स तैनात किया गया है। पुलिस ने इलाके में गश्त भी किया। एसपी ने थाने का दौरा किया और थाने के पुलिसकर्मियों को तमाम निर्देश दिए।
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