VIDEO | "The accused (Pravesh Shukla) was arrested at around 2 am (today). He is currently being interrogated," says Anjulata Patle, Additional SP, Sidhi on the accused, who was seen urinating on a tribal youth in a video.
— Press Trust of India (@PTI_News) July 5, 2023
The police have invoked the stringent NSA against the… pic.twitter.com/0QquZFEM1w
शर्मनाक घटना का आरोपी प्रवेश, सीधी जिले के क़द्दावर नेता और भाजपा विधायक केदारनाथ शुक्ला का प्रतिनिधि बताया गया है। सूचनाओं के अनुसार केदारनाथ शुक्ला ने प्रवेश शुक्ला को मध्य प्रदेश पूर्व विद्युत वितरण कंपनी में अपना प्रतिनिधि नियुक्त किया था। वह पार्टी के यूथ विंग का पोस्ट होल्डर भी है। प्रवेश द्वारा आदिवासी पर पेशाब करने का वीडियो वायरल होते ही केदारनाथ शुक्ला ने पल्ला झाड़ते हुए प्रवेश शुक्ला के विधायक प्रतिनिधि होने को ग़लत बताया। संबंधों को नकारा।
आज चलेगा मामा का बुलडोजर
सीएम के रूख के बाद ज़िला प्रशासन हरकत में है। नगर पालिका ने भी आरोपी के अतिक्रमणों पर बुलडोज़र चलाने के लिए कमर भी कस ली है। बुलडोज़र चलाने की कार्रवाई आज ही संभावित है। हालांकि प्रवेश शुक्ला ने एक हलफ़नामा देकर वीडियो को फ़र्ज़ी करार दिया है। प्रवेश का दावा है, सुनियोजित तरीक़े से उसे विरोधियों ने फंसाया है।84 आदिवासी सीटों का खेल ख़राबः मध्यप्रदेश की कुल 230 विधानसभा सीटों में 47 आदिवासियों के लिए रिज़र्व हैं। राज्य में क़रीब दो करोड़ आदिवासी हैं। रिज़र्व सीटों के अलावा 37 सीटें और भी ऐसी हैं जहां ट्राइबल वोट जीत-हार में महत्वपूर्ण रोल अदा करता है। कांग्रेस ने 2018 के विधानसभा चुनाव में 47 रिज़र्व सीटों में से 30 सीटें जीती थीं। जबकि भाजपा को 16 सीटें मिलीं थीं। आदिवासी सीटों की बदौलत ही कांग्रेस ने 114 का आंकड़ा छूकर भाजपा को सत्ता से बाहर किया था।
प्रदेश में 2013 के विधानसभा चुनाव में स्थितयां उलट रहीं थीं। आदिवासी वर्ग के लिए आरक्षित 47 सीटों में से भाजपा ने 31 सीटें जीती थीं, जबकि कांग्रेस के खाते में 15 सीट आयी थीं। बीजेपी के लगातार तीसरी बार सरकार बनाने की एक मुख्य वजह ट्राइबल सीटों की जीत का यह समीकरण भी रहा था।
प्रधानमंत्री ने बीती 2 जुलाई के मध्य प्रदेश के शहडोल में आदिवासियों के साथ “खाट चर्चा” की थी। साथ खाना खाया। तरक़्क़ी के गुर दिए थे।शहडोल के जलसे में पीएम ने घोषणा की, “मध्य प्रदेश की गौंडरानी और आदिवासियों की अराध्य रानी दुर्गावती की 500वीं जन्म शताब्दी को पूरे देश में मनायेंगे। उनके इतिहास को देश से रूबरू करायेंगे। दुर्गावती के जीवन-शौर्य गाथाओं पर फ़िल्में बनवायेंगे। दिखवायेंगे।
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