जाने-माने वकील और सामाजिक कार्यकर्ता प्रशांत भूषण को आपराधिक अवमानना के मामले में देश की सर्वोच्च अदालत मंगलवार को सजा सुना सकती है। न्यायालय अवमानना अधिनियम के तहत कोर्ट की अवमानना करने पर अधिकतम 6 माह का साधारण कारावास या जुर्माना (दो हजार तक) या दोनों का प्रावधान है। सोमवार को दाखिल अपने जवाब में प्रशांत भूषण ने माफ़ी मांगने से साफ इनकार कर दिया था।