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केरल में पीएम मोदी पर आत्मघाती बम हमले की धमकी, जाँच शुरू

प्रधानमंत्री मोदी के सोमवार से शुरू हो रहे केरल दौरे के दौरान आत्मघाती बम हमले की धमकी दी गई है। पुलिस और सुरक्षा एजेंसियों ने इसकी जाँच शुरू कर दी है। 

आत्मघाती बम हमले की धमकी चिट्ठी के माध्यम से दी गई। यह पत्र कथित तौर पर बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष के सुरेंद्रन के कार्यालय में 17 अप्रैल को मिला था। रिपोर्टों के अनुसार सुरेंद्रन ने इस ख़त को पुलिस को सौंप दिया था। माना जा रहा है कि पुलिस इस धमकी को काफी गंभीरता से ले रही है क्योंकि पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया यानी पीएफआई पर प्रतिबंध लगने के बाद यह प्रधानमंत्री मोदी की केरल की पहली यात्रा है।

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डेक्कन हेराल्ड की रिपोर्ट के अनुसार प्रधानमंत्री 24 और 25 अप्रैल को केरल का दौरा करने वाले हैं। अपनी यात्रा के दौरान वह कई कार्यक्रमों में भाग लेंगे, जिसमें तिरुवनंतपुरम से वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेन को हरी झंडी दिखाना और राष्ट्रीय राजमार्ग के विभिन्न हिस्सों का उद्घाटन करना शामिल है।

शुरुआती जाँच से पता चला है कि कोच्चि के एक व्यक्ति द्वारा पत्र को मलयालम में लिखा गया था। पुलिस ने अपनी पड़ताल में एन के जॉनी नाम के एक व्यक्ति का पता लगाया। हालांकि, पुलिस की पूछताछ में जॉनी ने इस तरह के किसी भी पत्र भेजने से इनकार किया है।

दावा किया गया है कि उस धमकी वाले पत्र में कहा गया था कि मोदी को पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी का हाल होगा। कोच्चि के मूल निवासी जॉनी ने पत्र लिखे जाने से इनकार किया, लेकिन आरोप लगाया है कि हत्या की धमकी के पीछे एक व्यक्ति हो सकता है, जो उसके खिलाफ द्वेष रखता है।
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जॉनी ने संवाददाताओं से कहा कि पुलिस उनके घर आई थी और पत्र के बारे में पूछताछ की थी। द इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के अनुसार उन्होंने कहा, 'पुलिस ने मेरी लिखावट से पत्र का मिलान किया है। वे आश्वस्त हैं कि पत्र के पीछे मैं नहीं था। हो सकता है कि धमकी के पीछे कोई ऐसा व्यक्ति हो जो मुझसे द्वेष रखता हो। मैंने उन लोगों के नाम साझा किए हैं जिन पर मुझे शक है।'

इधर भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष के सुरेंद्रन ने प्रधानमंत्री की यात्रा से संबंधित वीवीआईपी सुरक्षा योजना को लीक करने के लिए राज्य पुलिस की आलोचना की है। रिपोर्ट के अनुसार उन्होंने कहा, 'धार्मिक चरमपंथी संगठन केरल में बहुत मजबूत और सक्रिय हैं। राज्य के खुफिया प्रमुख की रिपोर्ट मीडिया में लीक हो गई है। इसमें प्रतिबंधित पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया, पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी, एसडीपीआई और माओवादियों सहित कई संगठनों का ज़िक्र है। लेकिन राज्य सरकार इन संगठनों को बचा रही है।'

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क़मर वहीद नक़वी
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