सौ साल पहले आज ही के दिन ब्रिटिश सेना ने रॉलट एक्ट के विरोध में अमृतसर के जलियाँवाला बाग में सभा कर रहे निहत्थे भारतीयों पर अंधाधुंध गोलियाँ बरसा दी थीं। ख़बरों के मुताबिक़, इस घटना में 300 से ज़्यादा लोग मारे गए थे जबकि 1200 से अधिक लोग घायल हुए थे। भारत सहित दुनिया भर में मानवता में भरोसा रखने वाले लोग ब्रिटिश सरकार की इस कायराना हरक़त को कभी नहीं भुला सकते। घटना के 100 साल बाद भी देश के लोगों के मन में इसे लेकर बेहद ग़ुस्सा और दु:ख है। इस घटना ने देश के स्वतंत्रता संग्राम को और तेज़ कर दिया था और लोगों ने अंग्रेजों के ख़िलाफ़ आर-पार की लड़ाई लड़ने का एलान कर दिया था।