कोरोना वायरस से ख़िलाफ़ लड़ाई में अग्रणी भूमिका निभाने वाले इंडियन काउंसिल ऑफ़ मेडिकल रिसर्च यानी आईसीएमआर ने कहा है कि वायरस से संदिग्ध रूप से संक्रमित 80 फ़ीसदी लोग सर्दी-बुखार के बाद ठीक हो जाएँगे। इसने कहा है कि बाक़ी के 20 फ़ीसदी में इस वायरस के लक्षण ज़्यादा साफ़ दिखाई दे सकते हैं और उनमें से क़रीब 5 फ़ीसदी बीमार लोगों को हॉस्पिटल में भर्ती कराने की ज़रूरत पड़ सकती है।
कोरोना के 5% संदिग्धों को ही भर्ती कराने की ज़रूरत हो सकती है: आईसीएमआर
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- 23 Mar, 2020
आईसीएमआर ने कहा है कि वायरस से संदिग्ध रूप से संक्रमित 80 फ़ीसदी लोग सर्दी-बुखार के बाद ठीक हो जाएँगे। क़रीब 5 फ़ीसदी बीमार लोगों को हॉस्पिटल में भर्ती कराने की ज़रूरत पड़ सकती है।

आईसीएमआर का ऐसा दावा कुछ राहत पहुँचाने वाला लगता है जब देश में स्वास्थ्य व्यवस्था को लेकर सवाल उठाए जा रहे हैं। सवाल तो कोरोना वायरस की जाँच करने की क्षमता को लेकर भी उठाए जा रहे हैं। इसी को लेकर संशय जताया जा रहा है कि जब यूरोप के देश स्थिति को नहीं संभाल पा रहे हैं तो भारत इस स्थिति से कैसे निपटेगा? ऐसे ही संशयों के बीच आईसीएमआर के महानिदेशक बलराम भार्गव ने सफ़ाई दी है।