कहने को तो बिहार में शराबबंदी है लेकिन गोपालगंज से जो तसवीर सामने आई है, वह यह बताती है कि शराबबंदी सिर्फ़ कागजों में है। दूसरी ओर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार जनता को शराबबंदी के फायदे समझाते नहीं थक रहे हैं। लेकिन फायदा तो तब होगा जब शराबबंदी होगी।