मानव जीवन के नाजुकपन को संवेदना देने वाली लेखिका साहित्य और दक्षिण कोरियाई उपन्यासकार हान कांग को इस साल का साहित्य में नोबेल पुरस्कार दिया गया है। 53 साल की लेखिका ने अपने लेखन में इतिहास के झटकों को मानव जीवन के जद्दोजेहद से जोड़कर संवेदना प्रदान की है। उनके कार्यों में द वेजिटेरियन, द व्हाइट बुक, ह्यूमन एक्ट्स और ग्रीक लेसन्स शामिल हैं।
पुरस्कार की घोषणा के बाद स्वीडिश अकादमी के स्थायी सचिव मैट्स माल्म ने कहा, "मैंने हान कांग से फोन पर बात की। सूचना दी। ऐसा लग रहा था कि उनके लिए यह एक सामान्य दिन था। उन्होंने उसी समय अपने बेटे के साथ खाना खाया था। वह वास्तव में इस खबर (नोबेल पुरस्कार) के लिए तैयार नहीं थी। लेकिन हमने दिसंबर में इस पुरस्कार के दिये जाने की तैयारियों पर चर्चा शुरू कर दी है। यानी पुरस्कार मिलने की घोषणा पर जिस तरह तमाम लेखक, कवि, शायर, पत्रकार उछल पड़ते हैं, वैसी प्रतिक्रिया हान कांग ने नहीं दी। उन्होंने खामोशी से सुना और अपने बेटे के बारे में बताने लगीं कि वो खाना खाते समय कितने नखरे कर रहा था।
स्वीडिश अकादमी द्वारा साझा किए गए एक फोन इंटरव्यू में कुछ क्षणों की खामोशी के बाद हान ने कहा, "मैं पूरी तरह से सम्मानित महसूस कर रही हूं। मैं कोरियाई साहित्य के साथ बड़ी हुई हूं। मैं खुद को इसके बहुत करीब महसूस करती हूं। इसलिए मुझे उम्मीद है कि यह खबर कोरियाई साहित्य के पाठकों और मेरे दोस्तों और लेखकों के लिए अच्छी होगी।"
कोरियाई समाचार रिपोर्टों के अनुसार, इस घोषणा के बाद दक्षिण कोरिया में किताबों की दुकानों की तरफ ट्रैफ़िक जाम हो गया। अधिकारियों द्वारा इस खबर पर खुशी जताए जाने के कारण कई सरकारी सुनवाईयाँ रोक दी गईं। एक बयान में, कोरियाई राष्ट्रपति यूं सुक येओल ने हान को बधाई दी। उन्होंने कहा- "आपने हमारे आधुनिक इतिहास के दर्दनाक घावों को महान साहित्य में बदल दिया। मैं कोरियाई साहित्य के मूल्य (वैल्यूज) को आगे बढ़ाने के लिए आपको अपना सम्मान भेजता हूं।"
हान के उपन्यासों, निबंधों और लघु कहानी संग्रहों में पितृसत्ता, हिंसा, दुःख और मानवता के विभिन्न विषयों की खोज की गई है। उनके 2007 के उपन्यास द वेजिटेरियन, जिसका 2015 में डेबोरा स्मिथ ने अंग्रेजी में अनुवाद किया था, ने 2016 में अंतर्राष्ट्रीय बुकर पुरस्कार जीता था।
हान यह पुरस्कार जीतने वाली पहली दक्षिण कोरियाई लेखिका और 18वीं महिला हैं। नोबेल समिति के अध्यक्ष एंडर्स ओल्सन ने कहा, "कमज़ोर, अक्सर महिलाओं के जीवन के प्रति उनकी सहानुभूति स्पष्ट है। वो शरीर और आत्मा, जीवित और मृत के बीच संबंधों के बारे में अनोखी तरह से जागरूक करती हैं। काव्यात्मक और प्रयोगात्मक शैली में वह समकालीन गद्य में नया रास्ता दिखाने वाली लेखिका बन गई है।"
उपन्यासकार डेबोरा लेवी ने कहा, "मैं लंबे समय से जानती हूं कि हान कांग समकालीन विश्व मंच पर काम करने वाली सबसे गहन और कुशल लेखकों में से एक हैं। बहुत बढ़िया, प्रिय हान कांग, मुझे बहुत ख़ुशी है कि आप हमारे 2024 के नोबेल हैं।"
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