जिन्हें लग रहा है कि योगी सरकार 'लव जिहाद' के लिए नहीं, बल्कि सिर्फ़ जबरन धर्मांतरण को रोकने के लिए अध्यादेश ले आई है उन्हें इसी सरकार के एक फ़ैसले से पूरी स्थिति साफ़-साफ़ नज़र आ सकती है। योगी सरकार 44 साल पुरानी एक ऐसी योजना बंद करने की तैयारी कर रही है जो इंटरफेथ मैरेज यानी अलग-अलग धर्म के लोगों के बीच शादी को बढ़ावा देती है। माना जाता है कि अलग-अलग धर्म के लोगों के बीच शादी से धर्मनिरपेक्षता की जड़ें मज़बूत होती हैं। तो क्या अंतरधार्मिक शादी से दिक्कत है?