उत्तर प्रदेश के एक और शहर को मेट्रो मिल गई है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मंगलवार को इसके पहले चरण का लोकार्पण किया। उत्तर प्रदेश के विधानसभा चुनाव से पहले योगी सरकार ने एक और बड़े प्रोजेक्ट का उद्घाटन किया है।
इससे पहले आईआईटी कानपुर के दीक्षांत समारोह में मौजूद छात्रों को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि कानपुर भारत के उन चुनिंदा शहरों में से है, जो इतनी विविधता से भरे हैं।
मोदी ने कहा कि सत्ती चौरा घाट से लेकर मदारी पासी तक, नाना साहब से लेकर बटुकेश्वर दत्त तक, इस शहर की सैर करते हैं तो ऐसा लगता है जैसे हम स्वतंत्रता संग्राम के बलिदानों के गौरव की, उस गौरवशाली अतीत की सैर कर रहे हैं। प्रधानमंत्री ने बीना-पनकी पाइपलाइन परियोजना का लोकार्पण भी किया।
इससे पहले उत्तर प्रदेश में लखनऊ, गाजियाबाद, नोएडा और ग्रेटर नोएडा में भी मेट्रो सेवाएं शुरू हो चुकी हैं। कानपुर मेट्रो परियोजना की नींव 4 अक्टूबर 2016 को अखिलेश यादव की सरकार में रखी गई थी। इसके बाद 8 मार्च 2019 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने फिर से कानपुर मेट्रो की नींव रखी थी और 15 नवंबर 2019 को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इसके निर्माण कार्य को हरी झंडी दिखाई थी।
कानपुर मेट्रो पहले चरण में मेट्रो आईआईटी कानपुर, कल्याणपुर, एसपीएम अस्पताल, गुरुदेव स्क्वायर, गीता नगर, रावतपुर, एलएलआरएन और मोतीझील नाम के स्टेशनों से होकर गुजरेगी। पूरे मेट्रो प्रोजेक्ट में 2 लाइन होंगी और 30 स्टेशन होंगे।
इस पूरी परियोजना में 11000 करोड़ रुपए की लागत आएगी। भारत सरकार और केंद्र सरकार ने इसके लिए 50-50 फ़ीसदी की रकम दी है। इसके अलावा यूरोपियन इन्वेस्टमेंट बैंक ने भी इसके लिए अच्छी खासी आर्थिक सहायता दी है।
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