सैकड़ों किलोमीटर की रथ यात्रा कर देश के कोने-कोने में राम मंदिर की बात पहुँचाने वाले और इसके पक्ष में आन्दोलन की नींव रखने लालकृष्ण आडवाणी राम मंदिर के शिलान्यास के समय वहाँ मौजूद नहीं रहेंगे। वे इस पूरे कार्यक्रम को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के ज़रिए देखेंगे।