गोरखपुर में दिमाग़ी बुखार से पीड़ित बच्चों का दिन-रात जाग कर इलाज करने वाले डॉ. कफ़ील ख़ान को योगी सरकार ने तमाम आरोपों से क्लीनचिट दे दी है। उन्हें बच्चों की जान बचाने वाला 'मसीहा' कहा गया है। डॉ. कफ़ील को 2017 में गोरखपुर के बाबा राघवदास यानी बीआरडी मेडिकल कॉलेज में दिमाग़ी बुखार से पीड़ित बच्चों का जी-जान से इलाज करने की सज़ा मिली थी! इस जानलेवा बुखार से गोरखपुर मेडिकल कॉलेज में इलाज के लिए भर्ती 60 से ज़्यादा बच्चों की मौत ऑक्सीजन की कमी से हो गयी थी। तब बच्चों की मौत को लेकर तत्कालीन स्वास्थ्य मंत्री सिद्धार्थ नाथ सिंह ने बयान दिया था कि अगस्त सितंबर में तो इस इलाक़े में बच्चों की मौत होती रहती है।
यूपी: जिस डॉ. कफ़ील को जेल भेजा था उसे अब ‘मसीहा’ क्यों बताया?
- उत्तर प्रदेश
- |
- 27 Sep, 2019
गोरखपुर में दिमाग़ी बुखार से पीड़ित बच्चों का दिन-रात जाग कर इलाज करने वाले डॉ. कफ़ील ख़ान को योगी सरकार ने तमाम आरोपों से क्लीनचिट दे दी है। उन्हें बच्चों की जान बचाने वाला 'मसीहा' कहा गया है।
