साल 1984 के बाद राष्ट्रीय राजधानी ने पहली बार इतनी हिंसा देखी। उत्तेजक बयानबाज़ी और हिंसक गतिविधियों के सिलसिले की शुरुआत 23-24 फरवरी को ही हो चुकी थी। इलाक़े में 23 फरवरी को भारतीय जनता पार्टी के एक विवादास्पद नेता ने पुलिस के एक बड़े अधिकारी के सामने क़ानून अपने हाथ में लेने की धमकी दे डाली थी।