यह विडंबना ही है कि जब शासन और संसदीय कामकाज में भाजपा और नरेंद्र मोदी के इक़बाल को चुनौतियाँ मिलनी शुरू हुई हैं तब राज्यसभा में भाजपा को पहली बार बहुमत मिलने का दावा किया जाने लगा है। लोकसभा चुनाव में (ज्यादातर) राज्यसभा सदस्यों द्वारा जीत हासिल करने से खाली हुई 12 जगहों के उप चुनाव में भाजपा ने नौ जीते हैं और एनडीए के साथियों ने दो स्थान जीते हैं।