कोरोना के चलते देश-दुनिया के बाज़ारों में अभूतपूर्व मंदी है लेकिन भारत की राजनीतिक मंडी में जनप्रतिनिधियों की ख़रीद-फ़रोख़्त का क़ारोबार अबाध गति से जारी है। विधायकों की क़ीमतों में ज़बर्दस्त उछाल देखने को मिल रहा है। कोरोना काल में ही चार महीने पहले मध्य प्रदेश से शुरू हुआ कांग्रेस विधायकों की ख़रीद-फ़रोख़्त का खेल गुजरात होते हुए अब राजस्थान पहुँच गया है।

कोरोना के चलते देश-दुनिया के बाज़ारों में अभूतपूर्व मंदी है लेकिन भारत की राजनीतिक मंडी में जनप्रतिनिधियों की ख़रीद-फ़रोख़्त का क़ारोबार अबाध गति से जारी है।
चूँकि सरकार कोरोना नियंत्रण को अपनी प्राथमिकता सूची में नीचे धकेल चुकी है, इसलिए जनता भी अब संक्रमण के बढ़ते मामलों और उससे होने वाली मौतों के आँकड़ों को शेयर बाज़ार के सूचकांक के उतार-चढ़ाव की तरह देखने की अभ्यस्त हो रही है।