जम्मू-कश्मीर को विशेष दर्जा देने वाले अनुच्छेद-370 को बेअसर करने के फ़ैसले के बाद पाकिस्तान की ओर से युद्ध की चेतावनियाँ दी जा रही हैं तो भारत की ओर से भी कहा जा रहा है कि सेनाएँ किसी भी स्थिति का सामना करने के लिये मुस्तैद हैं। पाकिस्तानी प्रधानमंत्री इमरान ख़ान ने जब यह कहा कि पुलवामा जैसी कोई वारदात फिर हो और भारत यदि उसका जवाब दे तो स्वाभाविक है कि पाकिस्तान भी उसका जवाब देगा और इसके बाद युद्ध छिड़ जाएगा। यह युद्ध कहाँ तक जाएगा कहा नहीं जा सकता। थलसेना प्रमुख जनरल बिपिन रावत ने तो यहाँ तक कहा कि पाकिस्तानी हमले का जवाब देने के लिए भारतीय सेना ने पूरी तैयार कर ली थी। इसके बाद वायुसेना प्रमुख एयर चीफ़ मार्शल बी. एस. धनोआ ने भी कहा कि भारतीय वायुसेना हमेशा चौकस रहती है और वह किसी भी हमले का जवाब देने के लिए तैयार है।
ताक़तवर है तो क्या युद्ध छिड़ने पर भारत को नहीं होगा नुक़सान?
- विचार
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- 29 Aug, 2019
भारत-पाकिस्तान के बीच हालात ठीक नहीं हैं। सवाल यह उठता है कि यदि वाक़ई युद्ध छिड़ जाए तो इसका क्या हश्र होगा? क्या इसका नुक़सान दोनों देशों को नहीं होगा?

सवाल यह उठता है कि यदि वाक़ई युद्ध छिड़ जाए तो इसका क्या हश्र होगा। क्या भारतीय सेनाएँ इतनी सक्षम हैं कि वह पाकिस्तानी सेना को पटखनी दे सकें। यदि भारत और पाकिस्तान की सेनाओं में तैनात हथियार प्रणालियों का तुलनात्मक आँकड़ा देखें तो निश्चय ही भारतीय सेनाएँ पाकिस्तान पर काफ़ी भारी पड़ेंगी। लेकिन क्या युद्ध की हालत में भारतीय सेनाएँ कूच करती हुई पाकिस्तानी इलाक़े में घुस जाएँगी और पाकिस्तानी सेना कुछ नहीं कर पाएगी?