चीन और भारत के शिखर नेताओं के बीच अनौपचारिक शिखर बैठक इन नई उम्मीदों के साथ सम्पन्न हुई है कि दोनों देश अपने मतभेदों को दूर करने के लिये उच्चस्तरीय वार्ताएं जारी रखेंगे। शिखर बैठक के दौरान प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने अपने सार्वजनिक बयान में कहा कि दोनों देश एक-दूसरे की संवेदनशीलता और चिंताओं का ध्यान रखें लेकिन चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने ऐसा कोई भरोसा नहीं दिया।
शी का 'चीनी सपना' और पीएम मोदी का 'नया भारत'
- विचार
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- 13 Oct, 2019

शिखर बैठक के दौरान नरेन्द्र मोदी ने अपने सार्वजनिक बयान में कहा कि दोनों देश एक-दूसरे की चिंताओं का ध्यान रखें लेकिन चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने ऐसा कोई भरोसा नहीं दिया।
शी जिनपिंग ने केवल इतना ही कहा कि दोनों देश आपसी चिंता के मसलों पर बातचीत जारी रखेंगे और इसके लिये राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार और चीनी स्टेट काउंसलर की सीमा मसले पर होने वाली आगामी बैठक को हरी झंडी दे दी गई। इसके अलावा भारत के रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह को चीन दौरे का निमंत्रण दिया गया और व्यापार असंतुलन को दूर करने के लिये और सेक्टर वार बातचीत के लिये वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण और चीनी उप प्रधानमंत्री के बीच बातचीत का एलान किया गया है।