14 मई को बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह जब मध्य कोलकाता के धर्मतल्ला से उत्तरी कोलकाता में विवेकानंद के निवास तक ‘जय श्री राम’ के उद्घोष के साथ रवाना हुए, उसी समय यह साफ़ नज़र आ रहा था कि यह चुनावी रोड शो नहीं बल्कि बंगाल के ख़िलाफ़ बीजेपी का एक रण-घोष है। बंगाल की संस्कृति को पैरों तले रौंद डालने की धृष्टता का ऐलान भी है।