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कुछ 'शुभचिंतक' मुझे भाजपा में जाने के लिए मनाने में लगे हैं: शरद पवार

एनसीपी प्रमुख शरद पवार को आख़िर बार-बार बीजेपी को लेकर उनको सफ़ाई क्यों देनी पड़ रही है? आख़िर एकनाथ शिंदे सरकार में शामिल अजित पवार के साथ उनकी कथित तौर पर गुप्त बैठक को लेकर सवाल क्यों पूछे जा रहे हैं? हाल में कुछ ऐसे घटनाक्रम चले हैं कि कई सवाल खड़े हो रहे हैं और इसी बीच शरद पवार को सफ़ाई देनी पड़ी है। उन्होंने फिर से कहा है कि वह बीजेपी में शामिल नहीं होंगे। इसके साथ ही पवार ने कहा है कि उनके कुछ 'शुभचिंतक' भाजपा में जाने के लिए मनाने की कोशिश कर रहे हैं।

पवार महाराष्ट्र के सोलापुर जिले के सांगोला में पत्रकारों को संबोधित कर रहे थे। पवार ने कहा कि भाजपा के साथ कोई भी जुड़ाव एनसीपी की राजनीतिक नीति में फिट नहीं बैठता है।

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शरद पवार की यह प्रतिक्रिया तब आई है जब उन्होंने और अजित पवार ने शनिवार को पुणे में 'सीक्रेट मीटिंग' की। एक रिपोर्ट के अनुसार बैठक शनिवार शाम को कोरेगांव पार्क इलाके में एक बिजनेसमैन के बंगले पर हुई। एनसीपी में फूट पड़ने के बाद अजित और शरद की ये चौथी मुलाकात है।

रिपोर्टों में कहा गया है कि शरद पवार को बिजनेसमैन के बंगले से निकलते देखा गया। इसी बंगले से अजित पवार को भी निकलते देखा गया था। कहा जा रहा है कि अजित पवार और जयंत पाटिल मीडिया को चकमा देकर बैठक में शामिल हुए थे। अजित सरकारी काफिला छोड़कर बैठक में पहुंचे थे वहीं, जयंत पार्टी कार्यकर्ता की गाड़ी से रवाना हो गए। बैठक के बाद निकलते समय अजित अपनी गाड़ी में मीडिया से छिपते नजर आए थे।

अजित पवार के साथ शनिवार को पुणे में उनकी कथित गुप्त बैठक के बारे में पूछे जाने पर शरद पवार ने कहा, 'मैं आपको एक तथ्य बताना चाहता हूं कि वह मेरे भतीजे हैं। मेरे भतीजे से मिलने में क्या बुराई है? यदि परिवार का कोई वरिष्ठ व्यक्ति परिवार के किसी अन्य सदस्य से मिलना चाहता है, तो इसमें कोई समस्या नहीं होनी चाहिए।' उन्होंने यह भी कहा कि लोग राज्य की बागडोर महा विकास अघाड़ी को सौंपेंगे।
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इसके साथ ही पवार ने यह भी साफ़ कर दिया, 'एनसीपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष के रूप में मैं यह स्पष्ट कर रहा हूँ कि मेरी पार्टी भाजपा के साथ नहीं जाएगी। भारतीय जनता पार्टी के साथ कोई भी जुड़ाव एनसीपी की राजनीतिक नीति में फिट नहीं बैठता है।' पीटीआई की रिपोर्ट के अनुसार पवार ने खुलासा किया कि कुछ 'शुभचिंतक' उन्हें मनाने की कोशिश कर रहे हैं लेकिन वह कभी भी भारतीय जनता पार्टी के साथ गठबंधन नहीं करेंगे।

उन्होंने कहा, 'हममें से कुछ (अजित पवार के नेतृत्व वाले राकांपा समूह) ने एक अलग रुख अपनाया है। हमारे कुछ शुभचिंतक यह देखने की कोशिश कर रहे हैं कि क्या हमारे रुख में कोई बदलाव हो सकता है। यही कारण है कि वे सौहार्दपूर्ण चर्चा करने की कोशिश कर रहे हैं।' 

sharad pawar meets ajit pawar on bjp association - Satya Hindi

मोदी-नवाज मिल सकते हैं तो शरद-अजित क्यों नहीं: राउत

शिवसेना (यूबीटी) नेता संजय राउत ने पवार चाचा-भतीजे की जोड़ी के बीच बैठक को ज्यादा महत्व नहीं दिया है। उन्होंने रविवार को कहा कि शरद पवार ने अजित पवार को अगस्त में मुंबई में विपक्षी 'इंडिया' की बैठक में शामिल होने के लिए कहा होगा। 

उन्होंने आगे कहा, 'अगर नवाज़ शरीफ़ और नरेंद्र मोदी मिल सकते हैं, तो पवार परिवार क्यों नहीं? मजाक एक तरफ़, उम्मीद है कि शरद पवार कुछ दिनों में अपना रुख साफ़ कर देंगे। शरद पवार ने शायद अजित पवार को वापस आने के लिए कहा होगा, जैसे उन्होंने सुबह-सुबह शपथ ग्रहण (2019 में फड़णवीस के सीएम के रूप में) के बाद किया था। राजनीति में कुछ भी हो सकता है।'

राउत ने यह भी कहा कि महाराष्ट्र में सीएम एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाली गठबंधन सरकार में शामिल हुए कोई भी नेता खुश नहीं हैं। उन्होंने संवाददाताओं से कहा, 'यहां तक कि डिप्टी सीएम देवेंद्र फड़णवीस और अजित पवार भी नाखुश हैं।'

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क़मर वहीद नक़वी
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