ज़िंदा पशुओं को निर्यात करने से जुड़े विधेयक के मसौदे को केंद्र सरकार को वापस लेना पड़ा है। ऐसा इसलिए कि सरकार को इसके लिए काफ़ी विरोध का सामना करना पड़ रहा था। पशु अधिकार कार्यकर्ताओं, दक्षिणपंथी समूहों और जैन धार्मिक नेताओं ने इस विधेयक पर कड़ी आपत्ति जताई थी और इसे वापस लेने की मांग की थी। आरएसएस से जुड़े संगठन की प्रतिक्रिया मिलीजुली रही थी।