हिंडनबर्ग रिपोर्ट में गौतम अडानी से भी ज़्यादा बार जिन विनोद अडानी का नाम आया था, अब वह फिर से चर्चा में हैं। वह उन भारतीय उद्योगपतियों में से हैं जिन्होंने साइप्रस में 'गोल्डन पासपोर्ट' हासिल किया था। यह साइप्रस में दुनिया भर के अमीरों को निवेश को बढ़ावा देने की एक योजना थी। यह योजना भारतीय धनाड्यों की पसंदीदा थी। यानी ऐसी जगह जहाँ हजारों करोड़ रुपये निवेश करने पर कई तरह की जाँच-पड़ताल से तो छूट थी ही, उनको साइप्रस की नागरिकता भी दी जाती थी।