सशस्त्र बलों में भर्ती के लिए केंद्र सरकार के द्वारा लाई गई अग्निपथ योजना को लेकर सेना में बड़े पदों पर रहे अफसरों ने आपत्ति दर्ज की है और सुझाव भी दिए हैं। अग्निपथ योजना के तहत चयन होने के बाद युवाओं को 6 महीने की ट्रेनिंग दी जाएगी और फिर उन्हें 3.5 साल के लिए अलग-अलग जगहों पर तैनात किया जाएगा। 4 साल के बाद केवल 25 फीसद जवान ही आर्म्ड फोर्सेस में वापस आ सकेंगे जबकि बाकी लोग सेवाओं से बाहर हो जाएंगे।
अग्निपथ योजना: क्या कहते हैं सेना में बड़े पदों पर रहे अफ़सर
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- 15 Jun, 2022
अग्निपथ योजना को लेकर कई तरह की आपत्तियां सामने आ रही हैं लेकिन क्या केंद्र सरकार इन पर ध्यान देगी?

मेजर जनरल (रिटायर्ड) बीएस धनोआ ने अग्निपथ योजना को लेकर दो सुझाव दिए हैं। पहला सुझाव यह है कि भर्ती होने वाले जवानों की नौकरी का पीरियड कम से कम 7 साल किया जाए। दूसरा सुझाव यह कि जो लोग आगे भी सेना में बने रहना चाहते हैं उनके प्रतिशत को बढ़ाकर 50 किया जाए।