loader
मेहुल चोकसी

विपक्ष के लिए ईडी, सीबीआई, 'मेहुल भाई' को मदद कहां से आईः खड़गे

भारत में मोस्ट वॉन्टेड मेहुल चोकसी के मामले में कांग्रेस ने आज मंगलवार को पीएम मोदी पर तीखा हमला किया। एक बड़े घटनाक्रम में अंतरराष्ट्रीय एजेंसी इंटरपोल ने मेहुल चोकसी के खिलाफ अपना रेड कॉर्नर नोटिस वापस ले लिया है। मेहुल के वकील ने कहा कि ऐसा हमारी पिटीशन पर हुआ। इस मामले में सीबीआई को मुंह की खानी पड़ी है। अब मेहुल का प्रत्यर्पण और मुश्किल हो गया है। 

कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने मंगलवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर निशाना साधते हुए कहा कि विपक्षी नेताओं के खिलाफ केंद्रीय एजेंसियों का इस्तेमाल किया जा रहा है, जबकि प्रधानमंत्री के "मेहुल भाई" को छोड़ा जा रहा है। 
ताजा ख़बरें
खड़गे ने आज मेहुल भाई का नाम खास संदर्भ में लिया है। दरअसल, कांग्रेस पहले आरोप लगाती रही है कि प्रधानमंत्री के एक कार्यक्रम में मेहुल चोकसी मौजूद था और पीएम मोदी ने उसे ''अपने मेहुल भाई बैठे हैं'', कह कर संबोधित किया था। कांग्रेस ने इस आशय का वीडियो सबूत के तौर पर जारी किया था। उस वीडियो और कांग्रेस के आरोप का बीजेपी और पीएमओ ने कभी खंडन नहीं किया।
खड़गे ने हिंदी में किए गए ट्वीट में अडानी समूह के मालिक गौतम अडानी का जिक्र करते हुए कहा कि अगर "सबसे अच्छे दोस्त" के लिए संसद ठप हो सकती है, तो पांच साल पहले फरार हुए "पुराने दोस्त" को मदद से कैसे वंचित किया जा सकता है? उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री का "न खाने दूंगा" का वादा एक और "जुमला" बन गया था जब देश को हजारों करोड़ रुपये का नुकसान हुआ था।

पीटीआई के मुताबिक 13,500 करोड़ रुपये के पंजाब नेशनल बैंक लोन धोखाधड़ी मामले के मुख्य आरोपी मेहुल चोकसी के खिलाफ रेड कॉर्नर नोटिस इंटरपोल द्वारा वापस ले लिया गया। मंगलवार को इंडियन एक्सप्रेस ने इस मामले की जानकारी दी है। मेहुल चोकसी के वकील, विजय अग्रवाल ने कहा- कानूनी टीम के प्रयासों और मेरे मुवक्किल के मामले की वास्तविकता के कारण, उसका आरसीएन रद्द कर दिया गया है, और अंततः सच्चाई की जीत हुई है। चोकसी जनवरी 2018 में भारत से भाग गया था। उसके भागने के बाद सीबीआई ने उसके और उसके भतीजे नीरव मोदी के खिलाफ पीएनबी घोटाले में मामले दर्ज किए।
इस बीच, अंग्रेजी में एक अन्य ट्वीट में खड़गे ने कहा, सरकार संसद में चर्चा क्यों रोक रही है? क्या सदन चलाना और राष्ट्रहित के मुद्दों को सुलझाना सरकार की जिम्मेदारी नहीं है? अगर साफ नीयत तो बहस से क्यों भाग रहे हैं पीएम साहब?

देश से और खबरें

अडानी समूह के खिलाफ आरोपों की जांच के लिए कांग्रेस और अन्य विपक्षी दल चर्चा और संयुक्त संसदीय समिति (जेपीसी) की जांच की मांग कर रहे हैं। संसद के बजट सत्र में इस मुद्दे पर हंगामे के साथ-साथ बीजेपी द्वारा कांग्रेस नेता राहुल गांधी से भारतीय लोकतंत्र के बारे में विदेशों में की गई अपनी टिप्पणी के लिए माफी मांगने की मांग की गई है। इन दोनों मुद्दों पर संसद आज सातवें दिन भी ठप है।

सत्य हिन्दी ऐप डाउनलोड करें

गोदी मीडिया और विशाल कारपोरेट मीडिया के मुक़ाबले स्वतंत्र पत्रकारिता का साथ दीजिए और उसकी ताक़त बनिए। 'सत्य हिन्दी' की सदस्यता योजना में आपका आर्थिक योगदान ऐसे नाज़ुक समय में स्वतंत्र पत्रकारिता को बहुत मज़बूती देगा। याद रखिए, लोकतंत्र तभी बचेगा, जब सच बचेगा।

नीचे दी गयी विभिन्न सदस्यता योजनाओं में से अपना चुनाव कीजिए। सभी प्रकार की सदस्यता की अवधि एक वर्ष है। सदस्यता का चुनाव करने से पहले कृपया नीचे दिये गये सदस्यता योजना के विवरण और Membership Rules & NormsCancellation & Refund Policy को ध्यान से पढ़ें। आपका भुगतान प्राप्त होने की GST Invoice और सदस्यता-पत्र हम आपको ईमेल से ही भेजेंगे। कृपया अपना नाम व ईमेल सही तरीक़े से लिखें।
सत्य अनुयायी के रूप में आप पाएंगे:
  1. सदस्यता-पत्र
  2. विशेष न्यूज़लेटर: 'सत्य हिन्दी' की चुनिंदा विशेष कवरेज की जानकारी आपको पहले से मिल जायगी। आपकी ईमेल पर समय-समय पर आपको हमारा विशेष न्यूज़लेटर भेजा जायगा, जिसमें 'सत्य हिन्दी' की विशेष कवरेज की जानकारी आपको दी जायेगी, ताकि हमारी कोई ख़ास पेशकश आपसे छूट न जाय।
  3. 'सत्य हिन्दी' के 3 webinars में भाग लेने का मुफ़्त निमंत्रण। सदस्यता तिथि से 90 दिनों के भीतर आप अपनी पसन्द के किसी 3 webinar में भाग लेने के लिए प्राथमिकता से अपना स्थान आरक्षित करा सकेंगे। 'सत्य हिन्दी' सदस्यों को आवंटन के बाद रिक्त बच गये स्थानों के लिए सामान्य पंजीकरण खोला जायगा। *कृपया ध्यान रखें कि वेबिनार के स्थान सीमित हैं और पंजीकरण के बाद यदि किसी कारण से आप वेबिनार में भाग नहीं ले पाये, तो हम उसके एवज़ में आपको अतिरिक्त अवसर नहीं दे पायेंगे।
क़मर वहीद नक़वी
सर्वाधिक पढ़ी गयी खबरें

अपनी राय बतायें

इंडिया गठबंधन से और खबरें

ताज़ा ख़बरें

सर्वाधिक पढ़ी गयी खबरें