नागरिकता संशोधन क़ानून के ख़िलाफ़ देश भर में हो रहे प्रदर्शनों से क्या बीजेपी बुरी तरह घबरा गई है। क्या बीजेपी को लगता है कि इस क़ानून को लाकर उसने बहुत बड़ी भूल कर दी है और इसका उसे सियासी नुक़सान होने वाला है। यह सवाल इसलिए उठ रहा है क्योंकि उसके नेता इस क़ानून के समर्थन में हो रही रैलियों के दौरान लगातार ऐसे बयान दे रहे हैं जिससे पता चलता है कि वे बुरी तरह घबरा गए हैं और हताशा में अनाप-शनाप बयान दे रहे हैं। इन रैलियों को ख़ुद बीजेपी आलाकमान के निर्देश पर ही आयोजित किया जा रहा है।