नीतीश कुमार के मंत्रिमंडल में मंगलवार को हुए पहले विस्तार में उन सब बातों का ख्याल रखा गया है जो बिहार की राजनीति में जरूरी मानी जाती हैं। जैसे क्षेत्र और जाति का प्रतिनिधित्व। जो बात चौंकाने वाली थी, वह यह थी कि कुछ चर्चित नामों को अंतिम समय में मंत्री पद नहीं मिल पाया।

नीतीश कुमार की नई कैबिनेट में किन विधायकों को जगह नहीं मिली और क्यों?
यह जरूर है कि भाजपा की जगह आरजेडी और कांग्रेस के सरकार में शामिल होने के कारण मुसलमानों का कैबिनेट में प्रतिनिधित्व बढ़ा है।
यह बात भी ध्यान देने की है कि शाहनवाज हुसैन के मंत्री पद से हटने के कारण भाजपा के लिए इस बात का जवाब देना मुश्किल होगा कि देश भर में उसके कोटे से कितने मुसलिम मंत्री हैं।