लगता है कि उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार को इलाहाबाद हाई कोर्ट के आदेश की कोई परवाह नहीं है। कोर्ट ने अपने आदेश में योगी सरकार से कहा था कि उसे सदबुद्धि आए और वह 16 मार्च तक होर्डिंग्स को हटा ले। इन होर्डिंग्स में नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) के विरोध में हुई हिंसा के दौरान सार्वजनिक संपत्ति को नुक़सान पहुंचाने वाले अभियुक्तों के फ़ोटो लगाये गये थे। लेकिन योगी सरकार ने जोर देकर कहा है कि इन होर्डिंग्स को किसी भी हालत में नहीं हटाया जाएगा।
हाई कोर्ट का आदेश भी नहीं मानेगी योगी सरकार, रिकवरी के लिये लाई अध्यादेश
- उत्तर प्रदेश
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- 14 Mar, 2020

होर्डिंग विवाद मामले में उच्च न्यायालय व सुप्रीम कोर्ट से राहत न मिलते देख योगी सरकार अध्यादेश ले लाई है और उसने दुहराया है कि वह होर्डिंग्स को नहीं हटाएगी।
होर्डिंग्स लगाने के योगी सरकार के फ़ैसले पर इलाहाबाद हाई कोर्ट ने स्वत: संज्ञान लिया था और सरकार के इस काम को ग़लत करार दिया था। कोर्ट ने योगी सरकार से होर्डिंग्स हटाकर 16 मार्च तक रिपोर्ट देने के लिये कहा था। लेकिन योगी सरकार इसके ख़िलाफ़ सुप्रीम कोर्ट चली गयी। सुप्रीम कोर्ट से भी योगी सरकार को कोई राहत नहीं मिली थी।