लखीमपुर खीरी हिंसा मामले में इलाहाबाद हाई कोर्ट ने बड़ी टिप्पणी की है। हाई कोर्ट ने कहा है कि अगर केंद्रीय राज्य मंत्री अजय मिश्रा टेनी ने किसानों को नहीं धमकाया होता तो शायद लखीमपुर खीरी में हिंसा की घटना नहीं होती। यह कहते हुए अदालत ने इस हिंसा के 4 अभियुक्तों को जमानत देने से इनकार कर दिया।
‘टेनी ने किसानों को नहीं धमकाया होता तो शायद हिंसा नहीं होती’
- उत्तर प्रदेश
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- 9 May, 2022
लखीमपुर खीरी हिंसा मामले में अदालतों का रूख बेहद सख़्त रहा है। जानिए, इलाहाबाद हाई कोर्ट ने अपनी टिप्पणी में और क्या कहा।

लखीमपुर खीरी हिंसा के मामले में सुप्रीम कोर्ट भी लगातार तल्ख टिप्पणियां करता रहा है। सुप्रीम कोर्ट ने बीते महीने में इस मामले में मुख्य अभियुक्त और अजय मिश्रा टेनी के बेटे आशीष मिश्रा की जमानत खारिज कर दी थी।
आशीष मिश्रा को बीते साल अक्टूबर में गिरफ्तार किया गया था लेकिन फरवरी में इलाहाबाद हाई कोर्ट की लखनऊ बेंच ने उन्हें जमानत दे दी थी। उनकी जमानत के खिलाफ लखीमपुर खीरी हिंसा के पीड़ित परिवार सुप्रीम कोर्ट पहुंचे थे।