आगरा में साइकिल यात्रा को हरी झंडी दिखाते समय पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव रामजीलाल सुमन के चेहरे पर उभरे अभिभूत हो जाने के भावों को पढ़ना कोई मुश्किल बात नहीं थी। लाल टोपी और हाथ में झंडा थामे युवाओं के ऐसे महाकाय समूह को वह मुद्दत बाद देख रहे थे। वैसे भी आगरा समाजवादी पार्टी के बड़े आधार क्षेत्र वाला ठिकाना कभी नहीं रहा है फिर ऐसे विशाल जनसमूह के क्या मायने? पूछने पर वह कहते हैं, “प्रदेश की जनता के रोष की मात्रा की कल्पना नहीं की जा सकती है।"
पंक्चर तो नहीं होगी अखिलेश की साइकिल?
- उत्तर प्रदेश
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- 7 Aug, 2021

डेढ़ साल से ज़्यादा के कोरोना काल में जबकि प्रदेश की जनता अपने दुख दर्द और परिजनों की मौत से बिलख रही थी तब योगी सरकार का दूर-दूर तक पता नहीं था, तब उसके आंसू पोंछने के लिए विपक्ष भी गायब था। लेकिन मई में हुए पंचायत चुनावों के नतीजों ने प्रदेश में विपक्ष के हौसलों को आसमान तक उछाल दिया।
कोविड 19 के सारे प्रोटोकॉल को धता बताते हुए सड़क पर लाल टोपी पहने समाजवादियों की साइकिल के 6.5 किमी लम्बे हुजूम को देखकर राजधानी लखनऊ के लोग तो हैरान थे ही, प्रदेश के शहरों से लेकर देहात तक, शायद ही कोई ज़िला बचा था जहाँ सड़कों को समाजवादियों ने अपनी साइकिलों से न रौंद डाला हो-पुलिस और प्रशासन के व्यवधानों और धमकियों के बावजूद!