चुनावी रणनीतिकार प्रशांत किशोर के कांग्रेस में शामिल होने की अटकलें फिलहाल अब खत्म हो गई हैं। क्योंकि कांग्रेस ने न इसकी पुष्टि की और न खंडन किया। लेकिन प्रशांत किशोर उर्फ पीके ने इन सारी अटकलों को खारिज करते हुए साफ किया है कि अभी वह किसी भी तरह की राजनीतिक गतिविधि में शामिल नहीं हैं और न ही 2022 के प्रारंभ में होने वाले पांच राज्यों के चुनावों में उनकी प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष रूप से कोई भूमिका होगी।
कांग्रेस में अभी शामिल होने से क्यों बच रहे हैं प्रशांत किशोर?
- राजनीति
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- 30 Jul, 2021

सवाल यह है कि अगर पीके कांग्रेस में शामिल होते हैं और उन्हें अहमद पटेल या जितेंद्र प्रसाद जैसी भूमिका मिलती है तो क्या कांग्रेस के तमाम दिग्गज नेता जिन्हें G-23 भी कहा जाता है, और देश भर में फैले कांग्रेस संगठन के पदाधिकारी और कार्यकर्ता इसे सहजता से स्वीकार करेंगे।
साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि चाहे पंजाब का मामला हो या कोई और मसला, कांग्रेस के किसी भी फैसले में उनकी कोई भूमिका न पर्दे के पीछे है और न ही पर्दे के बाहर।
पश्चिम बंगाल के चुनाव नतीजों के बाद दो मई को उन्होंने जो घोषणा की थी वह उस पर पूरी तरह कायम हैं और अब जब भी कोई फैसला लेंगे तो उसकी सार्वजनिक घोषणा करेंगे। पीके ने कहा कि वह आगे राजनीति में सक्रिय होंगे या नहीं होंगे, इस बारे में अभी तक उन्होंने कोई फैसला नहीं किया है।