पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी आज कोलकाता में दो दिवसीय धरना शुरू करेंगी। हालांकि धरना देने की घोषणा पहले से ही की गई थी लेकिन मौजूदा राजनीतिक हालात में इस धरने का काफी महत्व है। धरने के दौरान अगर ममता भाषण देती हैं तो वो कांग्रेस नेता राहुल गांधी और विपक्षी एकता के मुद्दे पर नई बातें कह सकती हैं। हालांकि वो धरना लोकल मुद्दे पर दे रही हैं। लेकिन नेताओं से आप किसी भी बयान की उम्मीद कर सकते हैं। दूसरी तरफ कांग्रेस और भाजपा ने भी कोलकाता में प्रदर्शन की घोषणा की है।
राज्य में पंचायत चुनाव होने वाले हैं। तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) इसे शक्ति प्रदर्शन के रूप में देख रही है। हाल ही में जिस तरह वो उपचुनाव हारी है और उस सीट को कांग्रेस ने जीता है तो इससे टीएमसी को काफी धक्का लगा है। इसलिए पंचायत चुनाव से पहले टीएमसी ने भाजपा पर अपना हमला तेज कर दिया है।
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ममता आम्बेडकर की प्रतिमा पर धरना देंगी। वो कथित रूप से राज्य के साथ पक्षपात, योजनाएं रोकने के लिए भाजपा के नेतृत्व वाले केंद्र को निशाना बना सकती हैं।
मुख्यमंत्री के भतीजे और तृणमूल महासचिव अभिषेक बनर्जी भी केंद्र की नीतियों और बंगाल के प्रति उसके "सौतेले" रवैये के विरोध में शहीद मीनार मैदान में एक रैली को संबोधित करेंगे।
कांग्रेस के हाथों सागरदिघी उपचुनाव में हार से बौखलाई टीएमसी पंचायत चुनाव के लिए कोई कसर नहीं छोड़ना चाह रही है। पार्टी सूत्रों के मुताबिक, ममता बनर्जी का मंत्री गुलाम रब्बानी से अल्पसंख्यक मामलों का विभाग वापस लेने का कदम उन कई सुधारात्मक उपायों में से एक है, जो ग्रामीण चुनावों में शानदार प्रदर्शन सुनिश्चित करने के लिए उठाए जा रहे हैं।
ममता बनर्जी ने 2024 के आम चुनाव के लिए तृणमूल के अभियान के लिए भी पिच तैयार करना शुरू कर दिया है। वह पहले ही घोषणा कर चुकी हैं कि वह अकेले लोकसभा चुनाव लड़ेंगी और कांग्रेस के बिना क्षेत्रीय दलों का गठबंधन बनाने के तरीके तलाश रही हैं।
दोनों दलों ने हाल ही में आंतरिक पार्टी की बैठक में ममता की हाल की टिप्पणी के बाद कटाक्ष का आदान-प्रदान किया, जिसमें उन्होंने कहा कि कांग्रेस नेता राहुल गांधी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की "सबसे बड़ी टीआरपी" हैं। कांग्रेस ने तृणमूल और भाजपा के बीच डील का आरोप लगाते हुए पलटवार किया।
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मानहानि के मामले में गुजरात की अदालत के फैसले के बाद सांसद के रूप में राहुल गांधी की अयोग्यता के मुद्दे पर ममता बनर्जी की अगुवाई वाली पार्टी ने हालांकि कांग्रेस का समर्थन किया है।
इस बीच, भाजपा और कांग्रेस भी कोलकाता में विरोध प्रदर्शन की योजना बना रहे हैं। बंगाल के भाजपा नेता श्याम बाजार में एक दिन का धरना देंगे, जिस दौरान वे भ्रष्टाचार के आरोपों को लेकर सत्तारूढ़ तृणमूल पर निशाना साधेंगे।
दूसरी ओर, कांग्रेस ने लोकसभा से राहुल गांधी को अयोग्य ठहराए जाने के विरोध में राज्य पार्टी मुख्यालय से पार्क सर्कस तक मार्च निकालने की घोषणा की है।
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