प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि का फायदा भले ही देश के 11 करोड़ से ज़्यादा किसानों को मिल रहा हो पर आज भी ग्रामीण इलाक़ों के गरीबों का सबसे बड़ा सहारा महात्मा गांधी ग्रामीण रोजगार गांरटी योजना यानी मनरेगा ही है। लेकिन केंद्र सरकार के पिछले दो बजट देखें तो लगता है कि इस योजना को धीरे-धीरे ख़त्म करने की कोशिश चल रही है।
वैसे, पिछली सरकारों की योजनाओं को दरकिनार कर देना कोई नई बात नहीं है। लेकिन खुद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने केंद्र में अपनी सरकार बनते ही मनरेगा की जिस तरह से आलोचना की थी वैसा कोई उदाहरण इसके पहले नहीं मिलता। फरवरी में 2015 में प्रधानमंत्री ने संसद में यह कहा था कि मनरेगा यूपीए की नाकामी का स्मारक है। उसी समय से माना जाने लगा था कि यह योजना धीरे-धीरे अपने उतार की ओर बढ़ चलेगी।

कांग्रेस के नेतृत्व वाली यूपीए सरकार द्वारा शुरू की गई मनरेगा योजना के लिए फंड को लगातार कम क्यों किया जा रहा है? जानिए इस योजना के बारे में पीएम मोदी ने 2015 में क्या कहा था।