महाराष्ट्र बनने के बाद से ही राज्य की राजनीति को कंट्रोल करने वाले मराठा वोट बैंक में सेंध लग गयी है और अब मराठा वोटर इतना भ्रम में है कि उसे समझ नहीं आ रहा है कि नेताओं के साथ जाए या अलग से अपना भला सोचे। इसका सीधा फायदा बीजेपी को लोकसभा चुनाव में मिलेगा क्योंकि अब तक मराठा वोट परंपरागत तौर पर कांग्रेस या शरद पवार की एनसीपी के साथ ही रहा है, लेकिन अब करीब 28 फीसदी ये वोट कई खानों में बंट गया है।