मराठों को 16 फ़ीसदी आरक्षण का प्रस्ताव महाराष्ट्र की विधानसभा में पास हो गया है। अब महाराष्ट्र में 68 फ़ीसदी आरक्षण मिलने पर क्या दूसरे राज्य भी 50 फ़ीसदी से ज़्यादा आरक्षण नहीं माँगने लगेंगे?

सुप्रीम कोर्ट ने पहले से ही आरक्षण की अधिकतम सीमा 50 प्रतिशत तय कर दी है। हालाँकि, महाराष्ट्र पहले से ही जोड़तोड़ कर 52 फ़ीसदी तक आरक्षण दे रहा है। इसमें 16 और जोड़ने पर यह 68 फ़ीसदी हो जाएगा। तो कितना कठिन होगा यह?

महाराष्ट्र ने पहले भी 2014 में मराठा समुदाय को आरक्षण देने के लिए विधेयक पास किया था, लेकिन बॉम्बे हाई कोर्ट ने क़ानून पर रोक लगा दी थी। जब सरकार को सुप्रीम कोर्ट से भी राहत नहीं मिली तो हाई कोर्ट में फिर से याचिका लगाई। कोर्ट ने सरकार से पिछड़ा आयोग बनाने और रिपाेर्ट देने को कहा था। उसी पिछड़ा आयोग ने 16 फ़ीसदी आरक्षण की सिफ़ारिश की थी।