क्या कर्नाटक में सावरकर अभी भी स्वीकार्य नहीं हैं? जिस तरह से राज्य में गुरुवार को घटनाक्रम चला है उससे तो कम से कम यही लगता है। हिंदुत्व का चेहरा सावरकार के नाम पर कर्नाटक में फ्लाईओवर का नाम रखने का विरोध होने पर इसके उद्घाटन को आख़िरी समय में रद्द करना पड़ा। इसमें दोनों तरफ़ से अजीब राजनीति हुई। सावरकर के जन्मदिन पर मुख्यमंत्री बी एस येदियुरप्पा द्वारा इसका उद्घाटन किया जाना तय था। कांग्रेस और जेडीएस ने इस आधार पर विरोध किया कि स्थानीय स्वतंत्रता सेनानी के नाम पर क्यों नहीं फ्लाईओवर का नाम रखा गया। और आख़िर में ब्रुहत बेंगलुरु महानगर पालिका ने कोरोना वायरस लॉकडाउन को कारण बताते हुए उद्घाटन कार्यक्रम को रद्द कर दिया। सावरकर के नाम पर फ्लाईओवर का नाम रखने का विरोध सामाजिक कार्यकर्ता और कुछ दूसरे लोग भी कर रहे हैं।
कर्नाटक में क्या सावरकर मंज़ूर नहीं, फ्लाईओवर के नाम पर झुकी बीजेपी?
- कर्नाटक
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- सत्य ब्यूरो
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- 28 May, 2020
हिंदुत्व का चेहरा रहे सावरकार के नाम पर कर्नाटक में फ्लाईओवर के उद्घाटन को विरोध के बाद आख़िरी समय में रद्द करना पड़ा। इसमें दोनों तरफ़ से अजीब राजनीति हुई।

वैसे, कारण जो भी बताया जाएँ, लेकिन इस पूरे घटनाक्रम में लगता है कि राजनीतिक तौर पर वोट बैंक के नफ़ा-नुक़सान को लेकर फ़ैसला लिया गया। और इस नफ़े-नुक़सान में किसका पलड़ा भारी रहा, यह कहने की ज़रूरत नहीं है।