loader

झारखंड में फिर चलेगा मोदी का जादू या हारेगी बीजेपी?

झारखंड विधानसभा की 81 सीटों के लिए 5 चरणों में हुए मतदान के वोटों की गिनती शुरू हो गई है। 30 नवंबर से 20 दिसंबर तक 5 चरणों में मतदान हुए। चुनाव आयोग के मुताबिक़, 61.57 प्रतिशत लोगों ने अपने मताधिकार का प्रयोग किया था। 
चुनाव आयोग ने कहा है कि उसने वोटों की गिनती के लिए ख़ास किस्म का इंटीग्रेटेड आईसीटी काउंटिग एप्लीकेशन तैयार करवाया है, जो उसके वेबसाइट पर नतीजे दिखाएगा।
सम्बंधित खबरें
चुनाव आयोग ने एक बयान में कहा है, ‘रीटर्निंग अफ़सर केंद्रीयकृत प्रणाली ‘एनकोर’ में सीधे डेटा फीड करते हैं, इस एप्लीकेशन से यह सुविधा है कि रीटर्निंग अफ़सर डेटा के टेबल भी उसमें डाल सकते हैं। इससे नतीजे देने में समय की बचत होगी और ग़लतियाँ नहीं होंगी।’

चुनाव आयोग ने इलेक्सन ट्रेंड टीवी शुरू किया है, इस पर नतीजों की विस्तृत जानकारी दी जाएगी।
झारखंड में पाँच चरणों में विधानसभा के चुनाव हुए। पहले चरण का मतदान 30 नवंबर को हुआ। 7 दिसंबर को दूसरे, 12 दिसंबर को तीसरे चरण के तहत वोटिंग हुई। वहीं, चौथे चरण की वोटिंग 16 दिसंबर को जबकि 20 दिसंबर को पाँचवें चरण की वोटिंग हुई। 
2014 में हुए पिछले विधानसभा चुनाव में बीजेपी को 37 सीटें मिली थीं, जबकि उसके सहयोगी दल ऑल झारखंड स्टूडेंट्स यूनियन (आजसू) को 5 सीटों पर जीत मिली थी। लेकिन इस बार स्थितियाँ उसके पक्ष में नहीं दिखती हैं। इंडिया टुडे-एक्सिस माइ इंडिया के एग्ज़िट पोल के मुताबिक़, इस बार बीजेपी को 22 से 32 सीटें मिल सकती हैं। लेकिन इसी एग्ज़िट पोल में झारखंड मुक्ति मोर्चा-कांग्रेस-राष्ट्रीय जनता दल महागठबंधन को 38 से 50 सीटें मिलती दिख रही हैं।
झारखंड में सीट बँटवारे को लेकर बीजेपी और ऑल झारखंड स्टूडेंट्स यूनियन (आजसू) के बीच समझौता नहीं हो सका और दोनों दलों का गठबंधन टूट गया। आजसू ने झारखंड में 12 सीटों पर अपने उम्मीदवारों की घोषणा कर दी। इनमें वे सीटें भी शामिल हैं, जहाँ पर बीजेपी अपने उम्मीदवार उतार चुकी है। राँची स्थित आजसू मुख्यालय में सोमवार शाम को पार्टी के मुख्य प्रवक्ता डॉ. देवशरण भगत ने 12 उम्मीदवारों के नाम घोषित किए।
इसके अलावा एलजेपी के नवनियुक्त अध्यक्ष और सांसद चिराग पासवान ने कहा है कि उनकी पार्टी राज्य में 50 सीटों पर चुनाव लड़ेगी और मंलगवार को ही पहली सूची जारी कर दी जाएगी। झारखंड में विधानसभा की 81 सीटें हैं। इससे बीजेपी के लिए मुश्किलें खड़ी हो सकती हैं। 
सत्य हिन्दी ऐप डाउनलोड करें

गोदी मीडिया और विशाल कारपोरेट मीडिया के मुक़ाबले स्वतंत्र पत्रकारिता का साथ दीजिए और उसकी ताक़त बनिए। 'सत्य हिन्दी' की सदस्यता योजना में आपका आर्थिक योगदान ऐसे नाज़ुक समय में स्वतंत्र पत्रकारिता को बहुत मज़बूती देगा। याद रखिए, लोकतंत्र तभी बचेगा, जब सच बचेगा।

नीचे दी गयी विभिन्न सदस्यता योजनाओं में से अपना चुनाव कीजिए। सभी प्रकार की सदस्यता की अवधि एक वर्ष है। सदस्यता का चुनाव करने से पहले कृपया नीचे दिये गये सदस्यता योजना के विवरण और Membership Rules & NormsCancellation & Refund Policy को ध्यान से पढ़ें। आपका भुगतान प्राप्त होने की GST Invoice और सदस्यता-पत्र हम आपको ईमेल से ही भेजेंगे। कृपया अपना नाम व ईमेल सही तरीक़े से लिखें।
सत्य अनुयायी के रूप में आप पाएंगे:
  1. सदस्यता-पत्र
  2. विशेष न्यूज़लेटर: 'सत्य हिन्दी' की चुनिंदा विशेष कवरेज की जानकारी आपको पहले से मिल जायगी। आपकी ईमेल पर समय-समय पर आपको हमारा विशेष न्यूज़लेटर भेजा जायगा, जिसमें 'सत्य हिन्दी' की विशेष कवरेज की जानकारी आपको दी जायेगी, ताकि हमारी कोई ख़ास पेशकश आपसे छूट न जाय।
  3. 'सत्य हिन्दी' के 3 webinars में भाग लेने का मुफ़्त निमंत्रण। सदस्यता तिथि से 90 दिनों के भीतर आप अपनी पसन्द के किसी 3 webinar में भाग लेने के लिए प्राथमिकता से अपना स्थान आरक्षित करा सकेंगे। 'सत्य हिन्दी' सदस्यों को आवंटन के बाद रिक्त बच गये स्थानों के लिए सामान्य पंजीकरण खोला जायगा। *कृपया ध्यान रखें कि वेबिनार के स्थान सीमित हैं और पंजीकरण के बाद यदि किसी कारण से आप वेबिनार में भाग नहीं ले पाये, तो हम उसके एवज़ में आपको अतिरिक्त अवसर नहीं दे पायेंगे।
क़मर वहीद नक़वी
सर्वाधिक पढ़ी गयी खबरें

अपनी राय बतायें

झारखंड से और खबरें

ताज़ा ख़बरें

सर्वाधिक पढ़ी गयी खबरें