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पहलवान जंतर मंतर को छोड़ दूसरी जगह दे सकते हैं धरनाः पुलिस

दिल्ली पुलिस की उपायुक्त सुमन नलवा ने आज कहा कि अगर पहलवान भविष्य में फिर से धरना-प्रदर्शन के लिए आवेदन देते हैं, तो उन्हें जंतर-मंतर के अलावा किसी अन्य उपयुक्त स्थान पर इसके लिए अनुमति दी जाएगी। 
उपायुक्त सुमन नलवा ने कहा- "हमने पिछले 38 दिनों से जंतर-मंतर पर विरोध कर रहे पहलवानों को हर संभव सुविधाएं प्रदान कीं। लेकिन कल उन्होंने सभी अनुरोधों के बावजूद कानून का उल्लंघन किया...उन्हें हिरासत में लिया गया और शाम तक रिहा कर दिया गया था।" 
उपायुक्त सुमन नलवा के बयान से पहले दिल्ली पुलिस ने आज सुबह एक बयान में कहा था - 28 मई को प्रदर्शनकारियों ने उनसे किए गए सभी अनुरोधों के बावजूद कानून का उल्लंघन किया। इसीलिए चल रहे धरने को समाप्त करने का निर्णय लिया गया है। 
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जंतर मंतर पर कल रविवार को महिला पहलवानों के साथ जो कुछ भी हुआ, वो पुलिस की कहानी को सही नहीं ठहरा रहे हैं। क्योंकि महिला पहलवानों और बाकी प्रदर्शनकारियों ने शांतिपूर्ण तरीके से अपना मार्च शुरू किया था। इससे पहले पुलिस को उकसाने के लिए प्रदर्शनकारियों ने कुछ भी नहीं किया। इस संबंध में तमाम वीडियो, फोटो और लाइव कवरेज से तस्वीर पूरी तरह साफ है। लेकिन इसके बावजूद पुलिस ने बजरंग पुनिया, विनेश फोगाट और साक्षी मलिक के खिलाफ एफआईआर दर्ज की। 
इस संबंध में पहलवान साक्षी मलिक ने आज कहा - कल हालात खराब थे। हम शांति से मार्च करना चाहते थे, लेकिन उन्होंने (पुलिस) हमें ऐसा नहीं करने दिया। जंतर मंतर से ही बैरिकेडिंग थी। उन्होंने हमें धक्का देना शुरू कर दिया। इसके बाद हमें हिरासत में ले लिया गया... उन्होंने हमें बसों में पटक दिया। हमने दंगा नहीं किया, हमने किसी सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान नहीं पहुंचाया...।" साक्षी मलिक ने एक वीडियो ट्वीट किया है, जिससे पता चलता है कि महिला पहलवान जब शांतिपूर्वक आगे बढ़ रही थीं तो क्या हुआ था। वीडियो देखिए-

साक्षी से जब फेक फोटो के बारे में पूछा गया तो उन्होंने कहा- जो ऐसा कर रहे हैं उन्हें तनिक भी शर्म नहीं है। भगवान ऐसे लोगों को कैसे बनाता है? उन्हें परेशान लड़कियों के चेहरों पर मुस्कान दिख रही है... मुझे नहीं लगता कि उनके पास भी दिल होता है। वे हमें बदनाम करने की कोशिश कर रहे हैं। 
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क़मर वहीद नक़वी
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