नागरिकता संशोधन क़ानून के विरोध में जामिया मिल्लिया इस्लामिया यूनिवर्सिटी के छात्रों के प्रदर्शन के दौरान हुई हिंसा के मामले में सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को सुनवाई की। सुनवाई के दौरान चीफ़ जस्टिस ऑफ़ इंडिया (सीजेआई) ने कहा कि हमें इस मामले में दख़ल देने की ज़रूरत नहीं है। यह क़ानून-व्यवस्था की दिक्कत है। सीजेआई ने पूछा कि बसें कैसे जलीं? उन्होंने याचिकाकर्ताओं से यह भी कहा कि आप हाई कोर्ट का रूख क्यों नहीं करते।